झांसी। नोएडा पुलिस द्वारा 6 फरवरी को पकड़े गए झांसी निवासी दर्जनों सटोरियों का आका जो आज तक पर्दे के पीछे छुपा हुआ है। अखिल सेठ पूर्व में दस परसेंट पर मोबाइल के रिचार्ज कार्ड बेच कर परिवार का जीवन यापन करता था। जो आज अचानक दस करोड़ से अधिक संपत्ति का मालिक बन बैठा। इस पर न तो आज तक गोपनीय विभाग, ओर न ही इनकम टैक्स की निगाह पड़ी। आखिर चंद रुपयों के लिए गली गली घूमने वाला अरब पति कैसे बन गया।
दुबई से लेकर झांसी और झांसी से पूरे भारत में फैला इंटरनेट सट्टा और फ्रॉड का कारोबार में जुड़े बड़े बड़े माफिया अब तक नोएडा और झांसी पुलिस की रडार से दूर है। नोएडा पुलिस की पकड़ से फरार चल रहे सचिन सोनी को झांसी से गिरफ्तार कर लिया गया था। सचिन के मुताबिक सट्टा किंग नीरज गोस्वामी जो और अनसाफ खान महादेव ऐप के माध्यम से बुकिंग करते थे जो अब दुबई और थाईलैंड भाग गए है। यहां तक की जानकारी तो पुलिस को थी। लेकिन अब इसमें एक बड़ा नाम प्रकाश में आया मानिक चौक निवासी अखिल सेठ जो अभी युवा ही है। कम उम्र में करोड़पति कैसे बन बैठा इसको लेकर कई सवाल लगातार खड़े होते रहे है। सूत्र बताते है अंसाफ ओर नीरज यह दोनो अखिल सेठ के लिए कार्य करते थे। अखिल सेठ झांसी का सट्टे के कारोबार का सबसे बड़ा माफिया है। पूर्व ने अखिल सेठ एक निजी मोबाइल कंपनी में रहकर गली गली मोहल्ले में मोबाइल के रिचार्ज कार्ड दस रुपए प्रतिशत सेंकड़ा पर बेचा करता था। फिर उसने खुद का एक ऐप बनाया। इसके बाद वह महादेव ऐप से जुड़ा और आज उसके पास दस करोड़ से अधिक की संपत्ति जुट गई। अखिल के सिटी सर्किल की एक पोश कॉलोनी में चार बड़े फ्लैट है। आधा दर्जन से अधिक कीमती दो पहिया वाहन और तीन लग्जरी चार पहिया गाड़ी भी है। फिलहाल अभी अखिल सेठ नोएडा पुलिस की कार्यवाही के बाद भूमिगत हो गया। सूत्र बताते है की वह नेपाल भाग गया है। सट्टा माफिया अखिल सेठ और उसके गुर्गों का झांसी मीडिया क्लब (jhansimediaclub.com) लगातार परख दर परख खुलासा करेगी जब तक अखिल सेठ और उसके साथ जुड़े पर्दे के पीछे रहने वाले सट्टा माफिया सलाखों में नही पहुंच जाते।
रिपोर्ट – मुकेश वर्मा/राहुल कोष्टा






