झांसी। नगर के कटरा मौहल्ला स्थित श्री अतिशयकारी पार्श्वनाथ दिगम्बर जैन मंदिर में धर्मसभा को संबोधित करते हुए मुनिश्री विलोकसागर जी महाराज ने अपनी दिव्यवाणी में कहा कि “कर्म तुम्हें सजा दे उसके पहले अपने आपको सजा लो”। हमारे साथ जो भी शुभ और अशुभ घटनाएं घट रही हैं उसका कारण कर्मोदय ही हैं। कर्मों के कारण ही चेतन के अंदर ही भगवान या शैतान बनने के भाव आते हैं। संस्कार अमंगल से मंगल की ओर ले जाते हैं। हमारा लक्ष्य सिद्धत्व की प्राप्ति का होना चाहिए। इस अवसर पर समाजश्रेष्ठी आनन्द ड्योढिया एवं संजीव जैन चिरगांव के नेतृत्व में नगर के बड़ागांव गेट बाहर स्थित चावला कॉलोनी के नवनिर्मित जिनालय में मुनिसुव्रतनाथ भगवान की पंचकल्याणक प्राण प्रतिष्ठा हेतू मुनिश्री विलोकसागरजी महाराज के चरणों में स्थानीय जैन समाज के लोगों ने श्रीफल भेंट कर आग्रह किया। इस अवसर पर पंचायत कनिष्ठ उपाध्यक्ष वरुण जैन, संजय सिंघई, दिनेश जैन डीके, जितेन्द्र चौधरी, अशोक जैन रतनसेल्स, महेन्द्र सिंघई, अरविंद कामरेड, रमेशचंद जैन बिजली,प्रमोद जैन वैरायटी, विकास जैन चिरगांव, अलंकार जैन, कवि संजीव जैन, नरेश जैन मल्लन, राहुल जैन माची, अमित जैन छोटू, गौरव जैन नीम, विवेक जैन, विजय मिट्ठया, जिनेन्द्र जैन शामयाना, पुष्पेन्द्र जैन रानीपुर, आशीष जैन माची, सौरभ जैन बैंक,सोमिल सिंघई, रोनित जैन, श्रीमति मंजू जैन, सुनीता जैन, उषा जैन, पूनम जैन, अर्चना जैन, पूजा जैन, ममता जैन, सीमा नायक, दीप्ति जैन, रश्मि जैन, संगीता जैन, मैना जैन, शशि जैन, नेहा जैन आदि उपस्थित रहें। धर्मसभा में मंगलाचरण डॉ सुधीर जैन चिरगांव, आचार्यश्री के चित्र के समक्ष दीप प्रज्ज्वलन पदमचंद मिट्ठया, रविन्द्र जैन चिरगांव, खुशाल जैन, कमलेश जैन रोहित गारमेंट्स, एवं पूज्य मुनिश्री विलोकसागर जी महाराज के पाद प्रक्षालन एवं शास्त्र भेंट करने का सौभाग्य श्रीमति वर्षा जैन को प्राप्त हुआ। कार्यक्रम का संचालन सौरभ जैन सर्वज्ञ एवं आभार खुशाल जैन ने व्यक्त किया। जानकारी देते हुए सौरभ जैन सर्वज्ञ ने बताया कि वीरभूमि झांसी नगर में पहली बार जैन दर्शन के बीसवें तीर्थंकर मुनिसुव्रतनाथ भगवान की प्राण प्रतिष्ठा, पंचकल्याणक महोत्सव के रूप में फरवरी माह में हो सकती है। जिसके लिए महोत्सव समिति का गठन किया जाएगा।
रिपोर्ट – मुकेश वर्मा/राहुल कोष्टा






