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झाँसी लोकसभा सांसद अनुराग शर्मा ने महामहिम राज्यपाल आनंदीबेन पटेल से की शिष्टाचार भेंट

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झांसी। झाँसी लोकसभा सांसद अनुराग शर्मा ने आज बुंदेलखंड विश्वविद्यालय, झाँसी में आयोजित 29वें दीक्षांत समारोह के अवसर पर उत्तर प्रदेश की महामहिम राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल से शिष्टाचार भेंट की। इस विशेष मुलाकात के दौरान, सांसद ने राज्यपाल को पंडित विश्वनाथ शर्मा हिंदू धर्मार्थ न्यास द्वारा उनके पूज्य पिताजी, पंडित विश्वनाथ शर्मा की स्मृति में बुंदेलखंड विश्वविद्यालय, झाँसी परिसर में स्थापित किए जा रहे “बुंदेलखंड हेरिटेज इंस्टिट्यूट” की विस्तृत जानकारी प्रदान की।सांसद अनुराग शर्मा ने महामहिम राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल को बताया कि “बुंदेलखंड हेरिटेज इंस्टिट्यूट” बुंदेलखंड की समृद्ध सांस्कृतिक धरोहर के संरक्षण और संवर्धन के लिए समर्पित एक विशेष संस्थान होगा।

इसका मुख्य उद्देश्य बुंदेली संस्कृति, कला, साहित्य, परंपराओं, लोक संगीत, नृत्य, ऐतिहासिक धरोहरों और प्राचीन वास्तुकला को संरक्षित करना और उसे आने वाली पीढ़ियों तक पहुँचाना है। इंस्टिट्यूट न केवल ऐतिहासिक वस्तुओं और सांस्कृतिक दस्तावेजों का संग्रहालय होगा, बल्कि यह एक शोध और शिक्षा का केंद्र भी बनेगा, जहाँ बुंदेलखंड की संस्कृति के विभिन्न पहलुओं पर गहन अध्ययन और अनुसंधान किए जाएंगे।साथ ही सांसद ने महामहिम राज्यपाल को इस पहल के अंतर्गत उठाए जा रहे विभिन्न कदमों के बारे में भी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि बुंदेलखंड हेरिटेज इंस्टिट्यूट का निर्माण एक ऐसा स्थान प्रदान करेगा जहाँ लोग बुंदेलखंड की विरासत को करीब से जान सकें और समझ सकें। इसके माध्यम से क्षेत्र के शिल्प, लोक साहित्य, पारंपरिक पहनावे, स्थापत्य कला और धार्मिक मान्यताओं को जीवंत बनाए रखने के साथ-साथ, इनका डिजिटलीकरण भी किया जाएगा ताकि युवा पीढ़ी तक यह धरोहर डिजिटल माध्यमों से भी आसानी से पहुँच सके।महामहिम राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने इस परियोजना की सराहना की और कहा कि बुंदेलखंड हेरिटेज इंस्टिट्यूट जैसे संस्थान न केवल हमारी सांस्कृतिक धरोहर को संरक्षित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, बल्कि समाज को अपनी जड़ों से जोड़ने का कार्य भी करते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि वर्तमान समय में जब पश्चिमी प्रभाव तेजी से बढ़ रहा है, ऐसे में इस प्रकार की पहलें हमारी सांस्कृतिक पहचान को मजबूत बनाए रखने के लिए आवश्यक हैं। उन्होंने श्री अनुराग शर्मा के प्रयासों की प्रशंसा की और संस्कृति के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को प्रेरणादायक बताया।

रिपोर्ट – मुकेश वर्मा/राहुल कोष्टा

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