झांसी। इंटर कॉलेज प्रशासन के भ्रष्टाचार के सिस्टम के खिलाफ न्याय ओर सच को उजागर करने के लिए 12 वर्षों से लड़ाई लड़ रही शिक्षिका को अपना आत्म सम्मान, उत्पीड़न तो सब बर्दाश्त करना ही पड़ा लेकिन फिर भी उसकी कॉलेज के बिगड़े सिस्टम के खिलाफ लड़ाई जारी है, लेकिन शिक्षिका को यह नहीं पता था कि कॉलेज के जिस बिगड़े हुए सिस्टम के खिलाफ वह लड़ रही उसमें उसका तो उत्पीड़न हो ही रहा लेकिन यह उत्पीड़न अब उसके परिवार ओर बच्चों पर भी आएगा इसकी उसे तनिक भी जानकारी नहीं थी। 12 वर्षों से लगातार भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई लड़ रही शिक्षिका बिल्कुल भी नहीं डगमगाई। लेकिन जब बात परिवार पर आई तो आज मीडिया के सामने सच को रखा ओर अपने ओर परिवार की सुरक्षा की गुहार प्रशासन से लगाई। मामला झांसी के लोकमान्य तिलक इंटर कॉलेज से जुड़ा है। जिसमें तैनात गणित की सहायक अध्यापिका अंजू गुप्ता ने वर्ष 2013 में चयन वेतनमान और गलत तरीके से एक शिक्षिका की पदोन्नति का मामला उठाया था। यह मामला जिला प्रशासन से लेकर मुख्यालय ओर सरकार तक पहुंचा। लेकिन कागजों में सच सामने आने के बाद भी दोषियों पर कार्यवाही नहीं हुई तो उसे मजबूरन न्यायालय का सहारा लेना पड़ा। न्यायालय का सहारा लेने के बाद अब उसे उसके परिवार को प्रताड़ित करने की धमकियां दी जा रही है। रविवार को स्थानीय होटल में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान लोकमान्य तिलक इंटर कॉलेज की गणित की सहायक अध्यापिका श्रीमती अंजू गुप्ता ने बताया कि विद्यालय द्वारा वर्ष 1998 से 2020 तक दो तदर्थ अध्यापिकाओं को लगातार 22 वर्षों तक अनुचित वित्तीय लाभ दिया गया। जिसकी उसने कई बार शासन, जिला प्रशासन, संबंधित शिक्षा विभाग के अधिकारियों से शिकायत की गई। जांच के दौरान कई बार तथ्य सामने आए कि विद्यालय प्रशासन ने गलत तरीके से दो अध्यापिकाओं को अनुचित लाभ दिया इसके बावजूद भी कोई कार्यवाही नहीं की। जिस पर विद्यालय प्रशासन कमेटी के कुछ पदाधिकारियों द्वारा उसका वेतन, छुट्टी आदि सरकार से मिलने वाली सुविधाएं बंद कर दी गई। उसने न्यायालय की शरण ली तो अब उसे उसके बच्चों का भविष्य बरवाद करने की धमकियां दी जा रही है। अंजू गुप्ता ने मीडिया के माध्यम से शासन प्रशासन से पूरे प्रकरण में निष्पक्ष जांच कर कार्यवाही ओर सुरक्षा की मांग की है।
रिपोर्ट – मुकेश वर्मा/राहुल कोष्टा


