Home उत्तर प्रदेश सुनीता के बाद नेहा बेगम ने बताया मेहनत से बड़ा कोई कर्म...

सुनीता के बाद नेहा बेगम ने बताया मेहनत से बड़ा कोई कर्म नही, बच्चों की परवरिश के लिए उतरी सड़कों पर

24
0

झांसी। वीरांगना महारानी लक्ष्मी बाई की कर्मभूमि पर वीरांगनाओं की कमी नहीं। किसी के सामने हाथ फैलाने से अच्छा वीरांगनाएं अब अपने बच्चों का भविष्य बनाने के लिए मेहनत का रास्ता अपना रही है। तालपुरा निवासी सुनीता अहिरवार अपने पति के इलाज और घर का भरण पोषण करने के लिए ऑटो रिक्शा चला रही। सुनीता से सीख लेते हुए अब पति और ससुरालियों से ठुकराई गई नेहा बेगम ने किसी के सामने हाथ फैलाने से अच्छा मेहनत का रास्ता अपनाया और अपने बच्चों की परवरिश करने का जिम्मा उठाकर ई रिक्शा चलाना शुरू कर दिया है। झांसी शहर के गोविंद चौराहा के पास रहने वाली नेहा बेगम इन दिनों वीरांगना महारानी लक्ष्मी बाई की नगरी झांसी की सड़कों पर ई रिक्शा चलाते दिखाई दे रही। नेहा से जब ई रिक्शा चलाने का कारण पूछा गया तो उन्होंने बताया कि ससुराल और पति ने करीब आठ माह पूर्व उन्हे ठुकरा दिया। वह अपने दो बच्चों के साथ मायके में रह रही है। लेकिन बच्चों की परवरिश और व्यापार करने के लिए बैंक से लिए गए कर्ज को चुकाने के लिए बच्चों को उच्च शिक्षा मुहैया कराने के लिए उन्होंने रिक्शा चलाने का मूड बनाया। उन्होंने कहा की मेहनत से बड़ा कोई कर्म नही होता। बेसहारा महिलाएं मांगने गिड़गिड़ाने के बजाए मेहनत की राह चुने। नेहा ने हिम्मत के साथ मुश्किलों का सामना किया और आगे बढ़ रही है। नेहा ने कहा की पति और ससुरालियों द्वारा उन्हें काफी प्रताड़ना दी गई लेकिन उन्होंने हिम्मत नही हारी और ज्यादा पैसा कमाने की चाहत में गलत रास्ता नही अपनाया। उन्होंने कहा की वह उन सभी महिलाओं को यह संदेश देना चाहती है जो अपने पति और ससुरालियों से ठुकरा दी गई है वह मेहनत करे मुकाब अपने आप हासिल हो जाएगा।

रिपोर्ट – मुकेश वर्मा/राहुल कोष्टा

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here